महामारी रोगों के एक टॉप एक्सपर्ट ने आकलन किया है कि कोरोना वायरस तब तक अपना कहर जारी रखेगा जब तक यह धरती पर मौजूद दो तिहाई लोगों को संक्रमित ना कर दे. अमेरिका के मिन्नेसोटा यूनिवर्सिटी में सेंटर फॉर इंफेक्शस डिजीज रिसर्च एंड पॉलिसी के डायरेक्टर माइकल ओस्टरहोल्म ने यूएसए टुडे से बातचीत में ये बात कही है. महामारी एक्सपर्ट ने कहा- हम सबको इस बात का सामना करना होगा कि कोई मैजिक बुलेट या वैक्सीन नहीं है जो कोरोना को भगा दे. हमें इसके साथ जीना होगा. लेकिन हम इसके बारे में चर्चा नहीं कर रहे हैं.
माइकल ओस्टरहोल्म ने कहा कि वैक्सीन संभवत: एक साल दूर है. बिना वैक्सीन के वायरस फैलता रहेगा जब तक कि हर्ड इम्यूनिटी न हो जाए. उनका आकलन है कि हर्ड इम्यूनिटी के लिए पूरी आबादी के 60 से 70 फीसदी लोगों के संक्रमित होने की जरूरत है.
हर्ड इम्यूनिटी उस स्थिति को कहते हैं जब किसी कम्युनिटी में इतने लोग संक्रमित हो चुके होते हैं कि वायरस के संक्रमण का चेन टूट जाता है. महामारी एक्सपर्ट का कहना है कि वायरस जितने लोगों को संक्रमित कर सकता है, उतने लोगों के संक्रमण तक इसका फैलना जारी रहेगा. इससे पहले संक्रमण की रफ्तार धीमी नहीं होगी.
हालांकि, अभी तक साइंटिफिक तौर से ये बात पता नहीं चली है कि एक बार संक्रमित होने के बाद कितने वक्त तक लोग दोबारा कोरोना से बीमार नहीं पड़ेंगे. हालांकि, सार्स और मर्स के वायरस से संक्रमित होने के बाद लोग कई सालों के लिए इम्यून हो जाते हैं. महामारी एक्सपर्ट माइकल ओस्टरहोल्म का कहना है कि अगर गर्मियों के दौरान कोरोना के मामले घटने लगते हैं तब इसका ये मतलब होगा कि यह सीजनल बीमारियों की तरह वापसी करेगा.
महामारी एक्सपर्ट ने कहा कि अब तक कोरोना ने काफी दर्द, मौत और आर्थिक नुकसान दिया है. लेकिन फिलहाल 5 से 20 फीसदी आबादी ही संक्रमित हुई है. 60 से 70 फीसदी लोगों के संक्रमित होने में अभी लंबा वक्त बाकी है.